Wazu ke Baad ki Dua | वजू के बाद की दुआएँ | 3 Easy Dua

अस्सलामु अलैकुम्, उम्मीद है के आप सभी खैरो आफियत से होंगे |आज हम आप को Wazu ke Baad ki Dua | वजू के बाद की दुआ बताने वाले हैं उम्मीद है आप इस पोस्ट को पढ़ कर दूसरों तक भी पहुॅचायेंगे।

अगर आप पाक नहीं है, तो आपकी वजू भी नहीं होगा उससे पहले आपको पाकीज़ा होना पड़ेगा। जिसके लिए गुसल करना होगा और गुसल की दुआ भी पढ़नी होगी।

दोस्तों जैसे आप सभी जानते है इस्लाम मे नमाज़ या कुरान शरीफ पढ़ने से पहले वुजू करना पढ़ता है जिसके बिना हम नमाज़ और कुरान नहीं पढ़ सकते है, तो आइए जानते है Wuzu ke Baad ki Dua क्या है।


Wazu ke Baad ki Dua | वजू के बाद की दुआएँ

اَشْهَدُ أَنْ لَا إِلَهَ إِلَّا اللَّهُ وَحْدَهُ لَا شَرِيكَ لَهُ وَأَشْهَدُ أَنَّ مُحَمَّدًا عَبْدُهُ وَرَسُولُهُ

अशहदु अल्ला इलाहा इल्लल्लाह, वहदाहु ला शरिका लहू, वा अशहदु अन्ना मुहम्मदन अब्दुहु वा रसूलुह।

Ashhadu alla ilaha illallah, wahdahu la sharika lahu, wa ashhadu anna Muhammadan ‘abduhu wa rasuluh.


Wazu ke Baad ki Dua ka Tarjuma | तर्जुमा

मैं गवाही देता हूँ कि अल्लाह ताला के सिवा कोई माबूद नहीं वह अकेला है उस का कोई शरीक नहीं और मैं गवाही देता हूँ कि हज़रत मोहम्मद अल्लाह के बंदे और उस के रसूल हैं।

Wazu ke Baad ki Dua ki Fazilat | फ़ज़ीलत

जन्नत के आठ दरवाज़े इस दुआ के पढ़ने वाले के लिए खोल दिए जाऐंगे जिस दरवाज़े से चाहे दाख़िल हो जाये। इस दुआ को तीन दफ़ा पढ़े

हवाला तिरमिज़ी ५५


2. Wazu ke Baad ki Dua | वजू के बाद की दुआएँ

Wazu ke Baad ki Dua
اللَّهُمَّ اجْعَلْنِي مِنَ التَّوَّابِينَ وَاجْعَلْنِي مِنَ الْمُتَطَهِّرِينَ

अल्लाहुम्मा इज’अलनी मिनत-तौव्वबीना वाज’अलनी मिनाल-मुतातहिरिन।

Allahumma ij’alni minat-tawwabina waj’alni minal-mutatahhirin.

तर्जुमा: ए अल्लाह ! तू मुझे बहुत तौबा करने वालों में और खूब पाकी हासिल करने वालों में शामिल फ़रमा दे

हवाला: तिरमिज़ी ५५


3. Wazu ke Baad ki Dua | वजू के बाद की दुआएँ

سُبْحَانَكَ اللَّهُمَّ وَبِحَمْدِكَ أَشْهَدُ أَنْ لَّا إِلهَ إِلَّا أَنْتَ اسْتَغْفِرُكَ وَأَتُوبُ إِلَيْكَ

सुब्हानका अल्लाहुम्मा वा बिहामदिका, अशहदु अल्ला इलाहा इल्ला अंता, अस्तग़फिरुका वा अतुबु इलाइक।

Subhanaka Allahumma wa bihamdika, ashhadu alla ilaha illa anta, astaghfiruka wa atubu ilayk.

तर्जुमा: ए अल्लाह ! तू पाक है और मैं तेरी हमद बयान करता हूँ मैं गवाही देता हूँ ए अल्लाह ! कि तेरे सिवा कोई माबूद नहीं मैं तुझ से बख़शिश चाहता हूँ और तेरे सामने तौबा करता हूँ

फ़ज़ीलत: रसूलुल्लाह ने फ़रमाया कि जिस ने वुज़ू किया और ये दुआ पढ़ी तो ये अलफ़ाज़ उस के लिए एक पर्चा पर लिख कर मोहर लगादी जाती है जो क़यामत तक लगी रहेगी और इस दिन से पहले तोड़ी नहीं जाएगी

हवाला: सुन्ने कबरी निसाई ९८२९। अमलु लयौमा वाल्लैला निसाई ८१, ८२


Ending

दोस्तों आज हमने इस आर्टिकल की मदद से जाना की Wuzu ke Baad ki Dua क्या होती है, आइए जानते है इस दुआ को पढ़ने की क्या फ़ज़ीलत है।

अगर किसी शख्स को अपने चेहरे पर नूर लाना है तो उसको चाहिए हर दिन वुजू करे और Chehre Par Noor ki Dua का भी विर्द करे।

उमर बिन खत्ताब रदी-अल्लाहू-अन्हु से रिवायत है की रसूल-अल्लाह सल-अल्लाहू अलैही वसल्लम ने फरमाया जो शख्स अच्छी तरह वुज़ू करे और फिर इस दुआ को पढे।

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